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🪔 श्री हरि विष्णु जी की आरती – ॐ जय जगदीश हरे

Shri Hari Vishnu Ji Aarti

🌸 परिचय

श्री हरि विष्णु जी, सृष्टि के पालनहार और करुणा सागर माने जाते हैं। भक्तजन उनकी कृपा से जीवन के सभी संकटों से मुक्त होकर सुख, शांति और समृद्धि प्राप्त करते हैं। ॐ जय जगदीश हरे आरती का पाठ विशेष रूप से संध्या आरती में किया जाता है। इसे गाने से घर में सकारात्मक ऊर्जा और दिव्यता का संचार होता है।


🌼 श्री हरि विष्णु जी की आरती के लाभ


🌺 श्री हरि विष्णु जी की आरती | Om Jai Jagdish Hare Aarti in Hindi

ॐ जय जगदीश हरे, प्रभु! जय जगदीश हरे।
भक्तजनों के संकट, छन में दूर करे॥ ॐ जय जगदीश हरे॥

जो ध्यावै फल पावै, दु:ख बिनसै मनका।
सुख सम्पत्ति घर आवै, कष्ट मिटै तनका॥ ॐ जय जगदीश हरे॥

मात-पिता तुम मेरे, शरण गहूँ किसकी।
तुम बिन और न दूजा, आस करूँ जिसकी॥ ॐ जय जगदीश हरे॥

तुम पूरन परमात्मा, तुम अंतर्यामी।
पार ब्रह्म परमेश्वर, तुम सबके स्वामी॥ ॐ जय जगदीश हरे॥

तुम करुणा के सागर, तुम पालनकर्ता।
मैं मुरख खल कामी, कृपा करो भर्ता॥ ॐ जय जगदीश हरे॥

तुम हो एक अगोचर, सबके प्राणपति।
किस विधि मिलूँ दयामय, तुमको मैं कुमति॥ ॐ जय जगदीश हरे॥

दीनबन्धु, दु:खहर्ता तुम ठाकुर मेरे।
अपने हाथ उठाओ, द्वार पडा तेरे॥ ॐ जय जगदीश हरे॥

विषय विकार मिटाओ, पाप हरो देवा।
श्रद्धा-भक्ति बढाओ, संतन की सेवा॥ ॐ जय जगदीश हरे॥


🌷 श्री हरि विष्णु जी की आरती करने की विधि

  1. प्रातः या संध्या समय स्नान करके विष्णु जी के चित्र या मूर्ति के सामने दीपक जलाएँ।
  2. तुलसी पत्र, पुष्प और फल अर्पित करें।
  3. श्रद्धा भाव से ॐ जय जगदीश हरे आरती गाएँ।
  4. घंटी या घड़ियाल बजाकर वातावरण को पवित्र बनाएं।
  5. अंत में आरती का प्रसाद ग्रहण करें और परिवार व भक्तजनों में बाँटें।

🌹 निष्कर्ष

ॐ जय जगदीश हरे आरती का पाठ करने से विष्णु भगवान की कृपा प्राप्त होती है। यह आरती भक्तों के जीवन में सुख, शांति, धन और वैभव प्रदान करती है और सभी संकटों का नाश करती है।

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